अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
नई दिल्ली:कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव से पहले किसानों के लिए पांच बड़ी घोषणाएं की हैं। भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दौरान कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को महाराष्ट्र के नासिक में आयोजित किसान महापंचायत में किसानों के लिए “किसान न्याय” गांरटी के अंतर्गत यह घोषणाएं की। उन्होंने केंद्र में इंडिया गठबंधन की सरकार आने पर किसानों का क़र्ज़ माफ करने के लिए कृषि ऋण आयोग की स्थापना, कृषि सामग्रियों पर जीएसटी हटाने, किसान हित में आयात-निर्यात नीति बनाने और फसल बीमा योजना में सुधार करने की बात कही। राहुल गांधी ने एमएसपी को स्वामीनाथन आयोग के फार्मूले के तहत कानूनी दर्जा देने के वादे को भी दोहराया। किसान महापंचायत में एनसीपी-शरद चंद्र पवार के अध्यक्ष शरद पवार और शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत भी मौजूद रहे।
किसान महापंचायत में किसानों के उमड़े जनसैलाब के बीच अपने संबोधन में राहुल गांधी ने कहा कि आज देश के सबसे बड़े मुद्दे किसान, अग्निवीर, बेरोजगारी, महंगाई और भागीदारी से जुड़े हुए हैं। आज किसान दिल्ली में रामलीला मैदान में खड़े हैं। किसान महीनों से दिल्ली के बॉर्डर पर खड़े थे। मोदी सरकार ने किसानों की सुनवाई नहीं की। मोदी सरकार ने पिछले 10 साल में किसानों का एक रुपया कर्ज माफ नहीं किया और हिंदुस्तान के सबसे बड़े अरबपतियों का 16 लाख करोड़ रुपये माफ कर दिया। जबकि कांग्रेस सरकार ने किसानों का करीब 70 हजार करोड़ का कर्ज माफ किया था।कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि मोदी सरकार में देश के किसानों को चारों ओर से घेरा जा रहा है। किसानों को फसल का सही दाम नहीं मिलता है, फसल का नुकसान होने पर बीमा का पैसा नहीं मिलता है और उनपर जीएसटी का बोझ भी डाल दिया गया है। जब तक कोई व्यक्ति किसान के दुख को नहीं समझता, किसान की मेहनत की इज्जत नहीं करता, तब तक वह किसान की मदद नहीं कर सकता। कांग्रेस की सरकार के दरवाजे हमेशा किसानों के लिए खुले रहेंगे। किसानों को लगेगा कि दिल्ली में किसानों की रक्षा करने वाली सरकार है, किसानों की आवाज को सुनने वाली सरकार है।राहुल गांधी ने कहा कि अगर किसान को चोट दी जा रही है तो दवा भी लगानी होगी। इसलिए कांग्रेस किसानों के लिए पांच ऐसी गारंटियां लेकर आई है, जो किसानों की सभी समस्याओं को जड़ से खत्म कर देंगी। कांग्रेस एमएसपी को स्वामीनाथन आयोग के फार्मूले के तहत कानूनी दर्जा देगी। किसानों के ऋण माफ करने और ऋण माफी की राशि निर्धारित करने के लिए एक स्थायी कृषि ऋण माफी आयोग बनाया जाएगा। बीमा योजना में परिवर्तन कर फसल का नुकसान होने पर 30 दिनों के भीतर सीधे बैंक खाते में भुगतान सुनिश्चित किया जाएगा। किसानों के हित को आगे रखते हुए एक नई आयात-निर्यात नीति बनाई जाएगी। कृषि सामग्रियों से जीएसटी हटाकर किसानों को जीएसटी मुक्त बनाया जाएगा। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि देश की मिट्टी को अपने पसीने से सींचने वाले किसानों के जीवन को खुशहाल बनाना ही कांग्रेस का लक्ष्य है और यह पांच ऐतिहासिक फैसले उसी दिशा में बढ़ाए गए कदम हैं।
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