अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद: क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढाने व अपडेट करने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह का साइबर थाना सेन्ट्रल की टीम ने पर्दाफाश किया हैं। पुलिस ने इस गिरोह के 6 सदस्यों को अरेस्ट किए हैं। अरेस्ट आरोपितों को पुलिस ने गुरुग्राम सेक्टर -18 स्थित एक कॉल सेंटर से अरेस्ट किए हैं। इनके कब्जे से पुलिस ने 60 मोबाइल फोन, 52 सिम,16 चैक बुक, 6 पास बुक,18 डेबिट कार्ड के साथ 17500/-रुपये नकद बरामद किए हैं। पकड़े गए ये सभी आरोपित दिल्ली -एनसीआर में 200 से अधिक वारदातों को अंजाम दे चुके हैं। ये खुलासा एसीपी साइबर अभिमन्यु गोयल ने आज सेक्टर -17 थाना, फरीदाबाद में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में किए हैं।
एसीपी साइबर अभिमन्यु गोयत ने आज पत्रकारों को जानकारी देते हुए बताया कि अरेस्ट आरोपितों के नाम शुभम,विकास,रोहित कुमार,मनीष, अभिषेक और अजय है। आरोपित शुभम, विकास और अभिषेक झारखंड के जिले जमशेदपुर का,रोहित उत्तर प्रदेश के बिजनौर जिले का, मनीष बिहार के सहरसा जिले का तथा अजय झारखंड के हजारीबाग जिले का रहने वाला है। आरोपित शुभम,मनीष,अजय वर्तमान में गुरुग्राम में रह रहे है, विकास, अभिषेक फरीदाबाद में तथा रोहित, दिल्ली का रहने वाला है। आरोपित दिल्ली में नौकरी करने के दौरान एक दूसरे से मिले थे। आरोपितों के द्वारा फरीदाबाद के ओल्ड में रहने वाले ज्ञान प्रकाश के साथ DBS BANK के क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढाने व अपडेट करने के नाम पर 28 जून को झांसा देकर 25914/- रुपये धोखाधड़ी से हड़प की वारदात को अंजाम दिया था। जिसकी शिकायत शिकायतकर्ता के द्वारा साइबर थाना बल्लभगढ़ में दी जिस पर कार्रवाई करते हुए मामला दर्ज कर आरोपितों की तलाश की जा रही थी। साइबर पुलिस टीम ने आरोपितों को अपने सूत्रों से प्राप्त सूचना से गुरुग्राम के सेक्टर- 18 से फर्जी कॉल सेंटर चलाते हुए 6 आरोपितों को काबू किया है। सभी आरोपितों को मामले में पूछताछ के लिए अदालत में पेश कर 3 दिन के पुलिस रिमांड पर लिया गया। पुलिस रिमांड के दौरान सामने आया कि आरोपितों शुभम, विकास , अजय और अभिषेक स्कूल, कॉलेज समय से एक दुसरे को जानते है। आरोपित रोहित औऱ मनीष ने इन आरोपितों के साथ दिल्ली में कॉल सेंटर में काम किया था। आरोपित विकास और अभिषेक कॉल करके लोगो को अपने जाल में फसाते थे। आरोपित अजय का पैसे निकालने का काम था। आरोपित शुभम सुपरवाईजर का काम तथा डाटा उपलब्ध करने का काम करता है। आरोपित रोहित टीम लीडर काम करता है। आरोपित मनीष मॉनिटरेट का काम करता है। वारदात का मुख्य आरोपित मनीष है।आरोपितों से पूछताछ के दौरान 60 मोबाइल फोन, 52 सिम,16 चैक बुक, 6 पास बुक,18 डेबिट कार्ड के साथ 17500/-रुपये नकद बरामद किए गए है। आरोपितों द्वारा प्रयोग में किए गए खातों से करीब 200 वारदातों में 60-70 लाख का लेन देन है।आजकल के आधुनिक दौर में लोग मूलभूत जरुरतो को पूरा करने के लिए क्रेडिट कार्ड्स पर अधिक निर्भर हो रहे है और उनमें आई समस्या का समाधान जल्द से जल्द घर बेठे व ऑन लाइन माध्यम से करना चाहते है। जिससे जाने अनजाने मे लोग साइबर अपराध करने वाले ठगों का निशाना बन जाते हैं| जिस का ठगी करने वाले अपराधिक प्रवृति के लोग फायदा उठाकर लोगों के साथ ऑनलाइन माध्यम से ठगी करके लोगों के मेहनत की कमाई को हड़प लेते है।
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