अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
चंडीगढ़: हरियाणा पुलिस द्वारा साइबर अपराध रोकने की दिशा में किए जा रहे प्रयासों के सकारात्मक परिणाम अब सामने आने लगे है और अब हरियाणा प्रदेश ही नहीं बल्कि प्रदेश की सीमा से बाहर भी साइबर अपराधियों पर नजर रखते हुए उनकी धरपकड़ की जा रही है। हरियाणा के पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर के निर्देशन में व पुलिस अधीक्षक अजीत सिंह शेखावत के मार्गदर्शन में यह पानीपत साइबर क्राइम थाना पुलिस की साइबर अपराधियों के खिलाफ अब तब की सबसे बड़ी कार्रवाई है। ऑनलाइन ठगी करने वाले गिरोह के गिरफ्तार किए गए 4 आरोपियों ने देशभर में विभिन्न राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों के 4575 लोगों को ठगी का शिकार बनाया था। जांच में पाया गया कि इन सभी मामलों में आरोपियों ने 15 करोड़ 83 लाख 22 हजार 679 रूपयें की ठगी की है। आरोपियों पर देशभर में विभिन्न राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों में 179 मुकदमा व 4396 शिकायत दर्ज है। इनमें से 10 मुकदमा व 210 शिकायत हरियाणा में दर्ज है।
क्या था मामला-
पुलिस अधीक्षक अजीत सिंह शेखावत ने मामले की विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि पानीपत थाना साइबर क्राइम में सेक्टर -12 निवासी यश गर्ग ने शिकायत देते हुए बताया था कि वह गूगल पर स्पोर्ट्स की नामी कंपनी की फ्रेंचाइजी ढूंढ रहा था जहां पर उसको एक वेबसाइट मिली। 10 अक्टूबर 2023 को उसने आवेदन किया। इसके अगले दिन एक नंबर से फोन आया। बात कर रहे युवक ने उसको कंपनी के नियमों व शर्तों के बारे में जानकारी देते हुए एक मेल भेजी। उसको पंजीकरण व सुरक्षा राशि के नाम पर भुगतान करने के साथ ही कंपनी की टीम से जगह का निरीक्षण करने की बात कही गई। 13 अक्टूबर 2023 को कंपनी का अकाउंट नंबर देकर उससे 6.60लाख रुपये डलवा लिए। फिर उसके पास यूटीआर नंबर भेजा गया। उसने चेक किया तो वह फर्जी पाया गया। साइबर ठगो ने फर्जी वेबसाइट बनाकर कंपनी की फ्रेंचाइजी देने के नाम पर धोखाधड़ी कर उससे उक्त राशि ठग ली। शिकायत पर थाना साइबर क्राइम में मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने जांच शुरू कर आरोपियों की धरपकड़ के प्रयास शुरू कर दिए थे। शेखावत ने बताया कि पानीपत साइबर क्राइम थाना पुलिस टीम ने कॉलिंग नंबर व बैंक खातों का विश्लेषण कर दबिश देते हुए गिरोह के सरगना आरोपी अमित निवासी कतरी सराय नालंदा, दीपक भारती निवासी सूपाल, कुलदीप निवासी लखीसराय व चंदन निवासी कतरी सराय नालंदा बिहार को बिहार के पटना से काबू किया था। आरोपियों के कब्जे से 14 मोबाइल फोन, 1 लैपटॉप, 18 सिम कार्ड, स्टेट बैंक की 2 फर्जी मोहर, 4 अन्य मोहर व पते लिखे 304 लिफाफे व 900 लक्की ड्रा कूपन व 93 ऑफर फार्म बरामद किए थे। इन मोबाइल व सिम कार्ड को जांच व डेटा रिकवरी के लिए इंडियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर भेजा गया। वहा इनका डेटा रिकवर किया गया तो पता चला कि इन मोबाइल व सिमकार्ड का प्रयोग कर आरोपियों ने देश भर में 4575 लोगों को ठगी का शिकार बनाया है। इन सभी लोगों द्वारा अपनी शिकायतें पुलिस को दी गई है। इन सभी मामलों में आरोपियों ने 15 करोड़ 83 लाख 22 हजार 679 रूपये की ठगी की है। आरोपियों पर देशभर में विभिन्न राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों में 179 मुकदमा व 4396 शिकायते दर्ज है। इनमें से 10 मुकदमा व 210 शिकायते हरियाणा में दर्ज है।उन्होंने बताया कि आरोपी अलग अलग तरीकों से लोगों के साथ ऑनलाइन ठगी की वारदातों को अंजाम देते थे। स्पोर्टस की एक नामी कंपनी की फर्जी वेबसाइट बनाकर कंपनी की फ्रेंचाइजी देने के नाम पर व लक्की ड्रा निकलने का झांसा देकर ठगी करने के तरीके आदि शामिल है। आरोपी पिछले डेढ़ साल से ऑनलाइन ठगी की वारदातों को अंजाम देने में सक्रिय थे। पुलिस टीम ने बीते दिनों पूछताछ के बाद रिमांड अवधि पूरी होने पर आरोपियों को न्यायालय में पेश किया गया जहां से चारों आरोपियों को न्यायिक हिरासत पर जेल भेजा गया ।
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