अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
पंचकूला:पंचकूला में बरसात के मौसम में तेज़ बहाव के खतरे को देखते हुए पंचकूला डीसीपी सृष्टि गुप्ता ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 महत्व पूर्ण आदेश जारी किया है। आदेश के अनुसार अब कोई भी व्यक्ति – चाहे बच्चा हो या बड़ा – घग्गर, कौशल्या, सिरसा, टांगरी नदियों और उनकी सहायक नदियों व नालों के 20 मीटर दायरे में नहीं जा सकेगा। साथ ही इन नदियों या नालों के पानी में नहाना, तैरना या प्रवेश करना पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगा। डीसीपी ने बताया कि मानसून के दौरान पानी का बहाव अचानक तेज़ हो सकता है जिससे जन-धन की हानि का गंभीर खतरा रहता है। प्राय देखने में आता है कि नदियो के किनारे लोग नहाते हुए दिखाई देते है इसलिए एसीपी व थाना प्रभारियों को विशेष तौर पर निगरानी के आदेश दिए गए है।
यह आदेश 23 अगस्त को जारी किया गया था और यह 21 अक्टूबर 2025 तक प्रभावी रहेगा और खासतौर पर घग्गर नदी के सेक्टर-21 (शनि मंदिर), माजरी चौक, गांव बुर्ज कोटिया, दीवान वाला, चंडी, थापली, बालू थपली, बरुण (थापली), चामला, टांगरी नदी के नजदीक बरवाला ब्रिज, खेतपुराली, रायपुररानी-मोरनी टी-पॉइंट और कौशल्या नदी (मल्लाह ब्रिज) जैसे क्षेत्रों को ख़तरनाक ज़ोन के रूप में चिन्हित किया गया है।
डीसीपी सृष्टि गुप्ता ने स्पष्ट किया है कि इस आदेश का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 223 के तहत कार्रवाई की जाएगी और सज़ा भी हो सकती है। उन्होंने सभी पुलिस अधिकारियों को आदेश के सख़्ती से पालन की हिदायत दी है। आपातकालीन स्थिति में संपर्क करने के लिए बाढ़ नियंत्रण कक्ष नंबर 0172-2562135 व पुलिस कंट्रोल रुम नंबर 7508324900 व डायल 112 पर तुरंत सूचना दे। पुलिस ने अपील की है कि नदी और नालो से उचित दूरी बनाएं रखे। किसी भी क्षेत्र का दौरा करने से पहले रुट की पूरी जानकारी ले।
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