अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
गुरुग्राम : होम मिनिस्टर्स मेडल फॉर एक्सीलेंस इन्वेस्टिगेशन के अवार्ड अपराध शाखा ,सेक्टर -31 गुरुग्राम के प्रभारी नवीन कुमार को सम्मानित किया जाएगा। नवीन कुमार ने फरीदाबाद बदरपुर बॉर्डर, क्राइम ब्रांच का इंचार्ज प्रॉपर्टी डीलर राणा प्रताप सिंह आहूजा व जगदीश हत्या कांड बड़ी सूझ बुझ , लग्न व मेहनत के साथ सुलझाया था और इस प्रकरण में 3 बड़े ही शातिर तीन अपराधियों को गिरफ्तार किए थे।
नवीन कुमार का कहना हैं कि जब वह बदरपुर बॉर्डर ,फरीदाबाद थे इस दौरान खेड़ीकलां गांव निवासी जगदीश को उसी के गाडी में गोली मार कर हत्या कर दी गई थी। यह घटना 20 मार्च 2017 की हैं। यह केस थाना भूपानी में भारतीय दंड सहिंता की धारा 302 व 25 -54 -59 आर्म एक्ट के तहत दर्ज की गई थी। जब इस केस की उन्होनें ने गंभीरता से जांच की गई तो उसमें अजीत सिंह निवासी गांव खेड़ीकलां ,थाना भूपानी को गिरफ्तार किया गया। पुलिस रिमाण्ड के दौरान आरोपी अजीत से निरीक्षक नवीन कुमार ने गहनता से पूछताछ की तो मालूम हुआ कि आरोपी अजीत व मृतक जगदीश बचपन के दोस्त थें और दोनो प्राॅपर्टी व शेयर मार्केट में रूपए लगाते थें जो अजीत ने पैसों के लेन -देन के चक्कर में ही जगदीश की प्लान के अनुसार 20.मार्च 17 को मोती महल सैक्टर-16 मार्किट के पास बुलाकर उसके साथ उसकी गाडी में बेैठ लिया तथा उसको कहा कि बाईपास पर कोई पैसे देने के लिए आएगा । उसके बाद जगदीश को सैक्टर-29 बाईपास रोड पर ले जाकर बाथरूम करने के बहाने से गाड़ी रुकवाकर जगदीश की गोली मारकर गाडी में ही हत्या कर दी तथा उसको गाड़ी की अगली दोनों सिटो के बीच डाल लिया जब थोडी दूर जाकर गाडी के गियर नही लगने के कारण गाडी हिट हो गई तो वह जगदीश की डेड बॉडी कार सहित बाईपास रोड पर छोडकर वापिस बाईक लेने ऑटो से मोती महल सैक्टर-16 चला गया ।
आरोपी अजीत का यह पूरा कारनामा सीसीटीवी कैमरे में भी कैद हो गया था। निरीक्षक नवीन कुमार ने आरोपी अजीत से मोटरसाइकिल व मौके से खाली खोल व वारदात में प्रयोग हथियार भी बरामद किया था। इस दौरान उसने यह भी कबूल किया की 18 अगस्त 2014 को आरोपी अजीत ने अपने दो दोस्त गांव महमूदपुर निवासी वीरेंद्र व सुरेंद्र के साथ मिल कर एक साजिश के तहत प्रॉपर्टी कारोबारी राणा सिंह आहूजा निवासी एनआईटी की हत्या कर दी थी उसको जमीन दिखाने के बहाने से तीनों ने एनआईटी में स्थित उसके आफिस के पास से विरेन्द्र की Wagon-R कार में बैठा लिया व एसआरएस सैक्टर-12 के पास अजीत उक्त की डस्टर कार मे बिठाकर नहर पार बीपीटीपी में सुनसान जगह पर ले जाकर रस्सी से गला घोटकर मार दिया तथा उसको डस्टर कार की डिग्गी मे डालकर अन्धेरा होने का इंतजार करते रहे बाद मे तीनों आरोपियों ने डेड बॉडी को खुर्द-बुर्द करने के लिए पनेहड़ा गाँव बल्लभगढ अड्डे पर इकट्ठे होकर योजना अनुसार मोहना पुल पर ले जाकर 20-20 किलो के बाट डेड बॉडी के साथ रस्सी की सहायता से बांध कर जमुना नदी में डाल दिया था । उक्त हत्याकांड के कारण का खुलासा करते हुए उक्त आरोपी अजीत ने बतलाया कि उसका मृतक राणा के साथ 2 करोड़ 33 लाख रुपयों का लेन-देन था जिस कारण अजीत ने राणा की हत्या करने के लिए वीरेंद्र व सुरेन्द्र दोनों सगे भाइयो को पैसों का लालच देकर अपने साथ शामिल किया तथा राणा को मारने की योजना बनाई तथा योजना अनुसार बल्लभगढ़ मार्केट से 20-20 किलो के बाट व रस्सी पहले ही खरीदकर अजीत व उसके साथियों ने उसकी डस्टर कार की डिग्गी में रखे हुए थे। उपरोक्त दोनों हत्याकांड को सुलझाना पुलिस के लिए सिरदर्द बना हुआ था, किन्तु निरीक्षक नवीन कुमार द्वारा दोनों हत्या के अभियोगों सुलझाकर आरोपियों को गिरफ्तार करके बहुत ही अच्छी तफ्तीश व कार्य कुशलता का परिचय दिया ।